चंडीगढ़ न्यूज डेस्क: हरियाणा की जासूसी केस में जेल में बंद सोशल मीडिया इंफ्लुएंसर ज्योति मल्होत्रा ने अब पंजाब-हरियाणा हाईकोर्ट में ज़मानत की गुहार लगाई है। जस्टिस सूर्य प्रताप सिंह ने उनकी याचिका पर हरियाणा सरकार को नोटिस जारी करते हुए कहा है कि राज्य विस्तृत जवाब पेश करे। ज्योति को मई 2025 में गिरफ्तार किया गया था और तब से वह न्यायिक हिरासत में हैं।
यह मामला इंटेलिजेंस ब्यूरो की एक रिपोर्ट से जुड़ा है, जिसमें दावा किया गया था कि वर्ष 2023 में दिल्ली स्थित पाकिस्तान उच्चायोग में वीजा लगवाने के दौरान उनकी मुलाकात पाक अधिकारी अहसान-उर-रहीम उर्फ दानिश से हुई। आरोप है कि उसके बाद भारत से जुड़ी कुछ “संवेदनशील सूचनाओं” का आदान-प्रदान हुआ, जिसके चलते Official Secrets Act के तहत मुकदमा दर्ज किया गया।
अपनी जमानत अर्जी में ज्योति ने कहा कि वह सिर्फ एक ट्रैवल ब्लॉगर हैं, जो कैमरे के सामने कंटेंट बनाती हैं—ऐसा व्यक्ति जासूसी जैसी काम से कोसों दूर होता है। उन्होंने तर्क दिया कि सोशल मीडिया पर खुले तौर पर वीडियो शूट और पोस्ट करने वाली शख़्सियत को “छुपकर जासूसी” करने वाला कहना ही तर्कहीन है।
ज्योति के वकील का कहना है कि आधिकारिक गोपनीयता अधिनियम के जिन प्रावधानों के आधार पर केस बना है—जैसे प्रतिबंधित क्षेत्र में प्रवेश, स्केच या मिलिट्री मॉडल बनाना—वह इस केस में कहीं लागू नहीं होते। उन्होंने हिसार एसपी के उस बयान का भी हवाला दिया जिसमें कहा गया था कि ज्योति के पास किसी भी सैन्य या रणनीतिक जानकारी की पहुंच नहीं मिली। ज्योति ने यह भी बताया कि वह घर में अपने बुज़ुर्ग पिता और बीमार चाचा की एकमात्र देखभालकर्ता हैं, इसलिए जमानत मिलनी चाहिए।